कृत्रिम वर्षा कोई नया टर्म नहीं है. बाढ़, सूखा, हीटवेव, तूफ़ान, जंगल में आग

जैसी सूरतों में स्थिति को काबू करने के विकल्प के रूप में कृत्रिम वर्षा की चर्चा होती है.

फिलहाल इसकी चर्चा दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण और इसके कारण गंभीर होते हालात के मद्देनज़र हो रही है.

दिल्ली में बीते कई दिनों से प्रदूषण का स्तर ‘गंभीर’ बना हुआ है. गंभीर से यहां मतलब है कि दिल्ली का एयर क्वालिटी इंडेक्स 401 से 500 के बीच बना हुआ है.

एक्सपर्ट के मुताबिक जब एक्यूआई शून्य और 50 के बीच हो उसे 'अच्छा' कहा जाता है.

51 और 100 के बीच 'संतोषजनक' 101 और 200 के बीच 'मध्यम', 201 और 300 के बीच 'खराब', 301 और 400 के बीच 'बहुत खराब' 401 और 500 के बीच 'गंभीर' माना जाता है

जब वायुमंडल में प्रकृतिक रूप से बने बादल ख़ुद बरसात कराते हैं तो उसे नैचुरल रेन यानी प्राकृतिक वर्षा कहते हैं

बादलों में बरसात के बीज डालकर में वर्षा कराई जाती है, तो उसे कृत्रिम वर्षा कहते हैं